महाराष्ट्र के नागपुर में सोमवार देर शाम को मुगल बादशाह औरंगजेब की कब्र के खिलाफ विरोध प्रदर्शन के बाद दो समुदायों के बीच टकराव हो गया. नागपुर में पहले महल पर हिंसा हुई फिर हंसापुरी में हुई, जिसके बाद कई इलाकों में कर्फ्यू लगाना पड़ा. नागपुर हिंसा का मामला संसद तक पहुंच गया है. फिलहाल शहर मे स्थिति शांतिपूर्ण है।
कांग्रेस सांसद रेणुका चौधरी ने नागपुर में हुई हिंसा पर चर्चा के लिए राज्यसभा में कार्य स्थगन प्रस्ताव का नोटिस दिया है. बाते दें नागपुर मे अब स्थिति काबू मे है, देर शाम 7:30 बजे नागपुर के महाल इलाके में हिंसा भड़क गई। इसके बाद पथराव और तोड़फोड़ शुरू हो गई। उपद्रवियों ने घरों पर पथराव किया और सड़क पर खड़े दर्जनों वाहनों में तोड़फोड़-आगजनी की।
नागपुर सेंट्रल से भाजपा विधायक प्रवीण दटके ने हिंसा प्रभावित क्षेत्र हंसपुरी का दौरा किया। उन्होंने कहा, “मैं आज सुबह-सुबह यहां पहुंचा। यह घटना पहले से ही तय किया गया था। कल सुबह एक आंदोलन के बाद गणेश पेठ पुलिस स्टेशन में घटना घटी, फिर सब कुछ सामान्य रहा। शाम में भीड़ सिर्फ़ हिंदुओं के घरों और दुकानों में प्रवेश की… पहले सभी कैमरे तोड़ दिए गए और फिर हथियारों के साथ हिंसा की गई। ये सब पहले से तय दिख रहा है। मैंने सीपी (पुलिस आयुक्त) से बात की, यह एक संवेदनशील क्षेत्र है….मैं सीएम से भी बात करूंगा… अपराधियों की तस्वीरें डीवीआर में हैं। हम ये सभी चीज पुलिस को देंगे… मुझे दुख के साथ कहना पड़ रहा है कि कल पुलिस हिंदू नागरिकों के साथ खड़ी नहीं थी….”
महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने नागपुर हिंसा पर कहा, “कल नागपुर में जो घटना हुई वह दुर्भाग्यपूर्ण है। जो आगजनी हुई, जिसमें 2-4 हज़ार लोग एकत्र हुए और कई घरों को निशाना बनाया, पथराव किया, आगजनी की। मोमिनपुरा में, जहां 100-150 गाड़ियां खड़ी रहती थीं, वहां एक भी गाड़ी कल नहीं थी। पुलिस जांच कर रही है कि कहीं ये पहले से सोची-समझी साज़िश तो नहीं है। लोगों पर हमला किया गया, पुलिस की गाड़ियों को भी निशाना बनाया गया। इस घटना में 4 DCP स्तर के अधिकारी, 30 पुलिसकर्मी घायल हुए हैं। पुलिस पर हमला करने का मतलब है कानून को अपने हाथ में लेना। इन लोगों को बख्शा नहीं जाएगा, सख्त कार्रवाई की जाएगी। मुख्यमंत्री खुद इसका संज्ञान ले रहे हैं… मैं लोगों से अपील करता हूं कि वे पुलिस का सहयोग करें और शांति बनाए रखें…”
नागपुर हिंसा पर विधानसभा में महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने कहा, “नागपुर में विश्व हिंदू परिषद और बजरंग दल ने विरोध प्रदर्शन किया। अफ़वाह फैलाई गई कि धार्मिक सामग्री वाली चीज़ें जला दी गईं….यह एक सुनियोजित हमला लगता है। किसी को भी कानून- व्यवस्था अपने हाथ में लेने की इजाज़त नहीं है।”
नागपुर हिंसा पर शिवसेना (UBT) सांसद संजय राउत ने कहा, “नागपुर में हिंसा होने का कोई कारण नहीं है। नागपुर आरएसएस का गण है। यहां पर मुख्यालय है यहां पर मोहन भागवत जी बैठते हैं…वहां पर देवेंद्र जी का निर्वाचन क्षेत्र भी है। वहां हिंसा फैलाने की हिम्मत कौन कर सकता है?
नागपुर हिंसा पर भाजपा नेता अनूप संजय धोत्रे ने कहा, “यह घटना प्लान घटना है… राजनीति से प्रेरित लोग जिन्हें मुसलमानों के कल्याण की चिंता नहीं है, उन्होंने अपने निजी हितों के लिए ऐसा किया है लेकिन हमारे सीएम देवेंद्र फडणवीस और गृह मंत्री अमित शाह जानते हैं कि ऐसी स्थितियों से कैसे निपटना है…वारदात करने वाले जेल में जरूर जाएंगे…”
नागपुर हिंसा पर केंद्रीय मंत्री रामदास अठावले ने कहा, “…छावा फिल्म में औरंगजेब ने जिस तरह से सांभाजी की हत्या की थी उसे देखकर लोगों में औरंगजेब के खिलाफ आक्रोश और बढ़ गया है। लेकिन हमारा सभी से कहना है कि वो शांति बनाए रखे रहें और वहां पर कानून-व्यवस्था बनाए रखें। शांति से आप मांग कर सकते हैं। मुख्यमंत्री और वहां की सुरक्षा बल लोगों को सुरक्षित रखने का प्रयास कर रही है…”
नागपुर हिंसा पर महाराष्ट्र के मंत्री संजय शिरसाट ने कहा, “नागपुर में हुई हिंसा के पीछे महा विकास अघाड़ी का हाथ है… जहां कब्र है, वहां से कोई मुसलमान क्यों नहीं आ रहा है? यहां तक कि मुसलमान भी नहीं चाहते कि वहां कब्र हो…वे (विपक्ष) यह दिखाने के लिए ऐसा कर रहे हैं कि वे मुसलमानों के साथ खड़े हैं, लेकिन उन्हें यह एहसास नहीं है कि मुसलमान भी ऐसा नहीं चाहते…”
शिवसेना सांसद नरेश म्हस्के ने नागपुर हिंसा पर कहा, “…नागपुर में हुई हिंसा की घटना निंदनीय है…कुछ लोगों ने एक समुदाय विशेष के घरों पर पथराव किया और पुलिस पर कुल्हाड़ियों से हमला किया। यह पहले से ही योजनाबद्ध दंगा था…पुलिस ने कुछ लोगों को पकड़ा है…स्थानीय लोगों का कहना है कि भीड़ बाहर से आई थी और सरनेम चेक करने के बाद घरों पर हमला किया…इसके पीछे जो लोग हैं उनके खिलाफ कार्रवाई होनी चाहिए…महाराष्ट्र में विपक्षी नेता पिछले 3-4 दिनों से कह रहे थे कि दंगे होंगे। उन्होंने भविष्यवाणी कैसे की और इसके बारे में कैसे पता चला? इस पर भी गौर किया जाना चाहिए…यह विपक्ष की साजिश लगती है…”
भाजपा सांसद अशोक चव्हाण ने नागपुर हिंसा पर कहा, “यह एक दुखद घटना है। पुलिस ने स्थिति को नियंत्रण में कर लिया है, लेकिन देश में ऐसे मुद्दों पर सांप्रदायिक दंगे होना ठीक नहीं है, महाराष्ट्र जैसे प्रगतिशील राज्य में यह ठीक नहीं है। सरकार ने पूरी स्थिति को नियंत्रण में कर लिया है। अब स्थिति सामान्य है। पुलिस ने कई लोगों को हिरासत में लिया है। जांच के बाद सच्चाई सामने आ जाएगी…”
महाराष्ट्र के मंत्री और राज्य भाजपा प्रमुख चंद्रशेखर बावनकुले ने नागपुर हिंसा पर कहा, “नागपुर में कल हुई दुर्घटना दुर्भाग्यपूर्ण है। मुख्यमंत्री और हम सब नागपुर के लोगों को शांत करने की कोशिश कर रहे हैं। 34 पुलिसकर्मी घायल हैं, 45-50 वाहनों में तोड़फोड़ की गई है। 4-5 नागरिक भी घायल हुए हैं… सोशल मीडिया पर भी नज़र रखी जा रही है। नागपुर में पुलिस कमिश्नर अधिकारियों से बात कर रहे हैं और ऐसी घटना फिर न हो, इसका प्रयास कर रहे हैं…
नागपुर हिंसा पर नागपुर सिटी पुलिस आयुक्त रविन्द्र सिंघल ने कहा, “नागपुर शहर में शांतिपूर्ण स्थिति है हमने कुछ एरिया में कर्फ्यू लगाया है…स्थिति कंट्रोल में है और शांति बनी हुई है। हमने इस घटना में करीब 50 से अधिक लोगों को हिरासत में लिया है इसके अलावा जो CCTV, वीडियो या सोशल मीडिया में ऐसी हरकते करते हुए दिख रहे हैं या शांति भंग करते दिख रहे तो उन लोगों पर भी हम कार्रवाई कर रहे हैं…”
नागपुर हिंसा पर भाजपा सांसद दिनेश शर्मा ने कहा, “इस घटना को मैं अच्छा नहीं मानता हूं क्योंकि देश में औरंगजेबी सोच वैसे भी समाप्त रही है लेकिन विपक्ष औरंगजेबी सोच को बार-बार जीवित करती है। मैं समझता हूं कि कांग्रेस को औरंगजेब के जिन से बचना चाहिए और औरंगजेबी सोच की जगह पर अब्दुल कलाम जी की सोच लाए या कोई और सोच लाए तो ज्यादा बेहतर होगा।”
नागपुर हिंसा पर महाराष्ट्र गृह राज्य मंत्री योगेश कदम ने कहा, “हिंसा की वजह का अभी पता नहीं चल पाया है लेकिन हमने जांच शुरू कर दी है अब तक 47 लोगों को हिरासत में लिया गया है। घटना में 12-14 पुलिसकर्मी घायल हुए हैं। 2-3 नागरिकों को भी चोटें आई हैं। हम घटना के पीछे की वजह का पता लगाएंगे…जिसने ये किया उन सब पर कड़ी कार्रवाई होगी।
नागपुर हिंसा पर भाजपा नेता सुनील शर्मा ने कहा, “ऐसी घटना तो नहीं घटनी चाहिए जिस प्रकार की घटना कल नागपुर में हुई है उसकी हम निंदा करते हैं। औरंगजेब भारत में कभी ग्लोरीफाई नहीं हो सकता है। भारत एक सांस्कृतिक देश है भारत की अपनी संस्कृति है और इसकी सभ्यता पर आक्रमण करके उन मुगल आक्रांताओं ने भारत की संस्कृति को नष्ट करने का प्रयास किया। यह देश किसी भी कीमत पर उसे अपना आदर्श नहीं मान सकता है…और जो लोग और समाज उसे यहां पर आदर्श बनाने की कोशिश करते हैं। मुझे लगता है कि उन्हें आत्मचिंतन करना चाहिए…”
नागपुर हिंसा पर भाजपा नेता विक्रम रंधावा ने कहा, “वहां की प्रशासन सिस्टम को अच्छे प्रबंधित कर रही है, कानून-व्यवस्था को खराब नहीं होने देना है। दंगे को बढ़ावा नहीं होने देना है…”
नागपुर (महाराष्ट्र) हिंसा पर महाराष्ट्र अल्पसंख्यक आयोग के अध्यक्ष प्यारे खान ने कहा, “यह बहुत दुर्भाग्यपूर्ण घटना है। नागपुर जैसे शहर में ऐसी घटना नहीं होनी चाहिए थी…रामनवमी के दौरान, यहां मुस्लिम लोग हिंदुओं का स्वागत करने के लिए टेंट लगाए हैं…यहां एक दरगाह है जहां हिंदू, मुस्लिम, सिख, ईसाई, सभी धर्मों के लोग आते हैं…जो लोग इस हिंसा में शामिल हैं वे यहां (नागपुर) के लोग नहीं हैं। कुछ असामाजिक तत्व बाहर से आए और उन्होंने इस घटना को अंजाम दिया…मैं सभी से शांति बनाए रखने की अपील करता हूं…”
नागपुर (महाराष्ट्र) हिंसा पर कांग्रेस नेता पवन खेड़ा ने कहा, “महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री के गृहक्षेत्र नागपुर के महल इलाके में दंगा भड़का है। नागपुर 300 साल पुराना शहर है और इन 300 सालों के इतिहास में नागपुर में कभी दंगा नहीं हुआ। हम सभी को पूछना चाहिए कि ऐसी स्थिति क्यों बनी। केंद्र और राज्य दोनों जगह भाजपा की सरकार है। अगर VHP और बजरंग दल ने औरंगजेब की कब्र हटाने की मांग को लेकर विरोध प्रदर्शन किया, तो क्या सरकार ने कानून-व्यवस्था बनाए रखने के लिए कोई व्यवस्था नहीं की? कांग्रेस पार्टी और हम सभी नागपुर के लोगों से शांति बनाए रखने की अपील करते हैं…हमारे लिए शांति आवश्यक है…”
केंद्रीय मंत्री और नागपुर से सांसद नितिन गडकरी ने कहा, “कुछ अफवाहों के कारण नागपुर में धार्मिक तनाव की स्थिति पैदा हुई है। नागपुर शहर का इतिहास ऐसे मामलों में शांति बनाए रखने का रहा है। मैं अपने सभी भाइयों से आग्रह करता हूं कि वे किसी भी तरह की अफवाहों पर विश्वास न करें और शांति बनाए रखें। सड़कों पर न निकलें। कानून व्यवस्था में सहयोग करें। शांति और सद्भाव की परंपरा को बनाए रखें जिसके लिए नागपुर जाना जाता है। मैं आप सभी को आश्वस्त करता हूं कि सरकार उन लोगों के खिलाफ कार्रवाई करेगी जिन्होंने गलती की है या अवैध गतिविधियों में लिप्त हैं। मुख्यमंत्री को पहले ही इस स्थिति के बारे में सूचित किया जा चुका है, इसलिए मैं सभी से अनुरोध करता हूं कि अफवाहों पर ध्यान न दें। कृपया पुलिस प्रशासन का सहयोग करें, प्रेम बढ़ाएं और शहर में सकारात्मक माहौल बनाए रखें। यह मेरा आप सभी से विनम्र अनुरोध है।
महाराष्ट्र के मंत्री और राज्य भाजपा प्रमुख चंद्रशेखर बावनकुले ने कहा, “नागपुर में जो स्थिति निर्माण हुई है, जिन लोगों ने भी वो स्थिति निर्माण की है, उन पर कड़ी कार्रवाई होनी चाहिए। पुलिस प्रशासन वहां मौजूद है…नागपुर की जनता बहुत संवेदनशील है…हमने नागपुर में कभी ऐसी घटना नहीं देखी…”